पीड़ितों को न्याय, सबको सुरक्षा और सम्मान देना पुलिस का कर्तव्य - उपेन्द्र मलिक


सरधना (मेरठ) पुलिस झंडा दिवस के मौके पर शनिवार सुबह सरधना थाना प्रभारी उपेन्द्र कुमार मलिक ने झंडारोहण कर अपने वर्दी पर झंडे का टीका लगाया। वहीं इस मौके पर पुलिस कर्मियों को झंडा दिवस व उसके महत्व के बारे में बताया। उन्होंने कहा कि झंडे का सम्मान करना हम सभी की ज़िम्मेदारी है। इस दौरान एसएसआई अमित कुमार जावला एस आई नफीस अहमद, जितेन्द्र कुमार लियाकत अली ,श्योदान सिंह, प्रदीप कुमार, अमित बालियान सहित समस्त स्टाफ शामिल रहा सभी को इस दिन के महत्व की जानकारी दी गयी। 
उपेन्द्र मलिक ने बताया कि यूपी पुलिस के इतिहास में 23 नवम्बर का दिन विशेष महत्व रखता है। इस दिन को 'पुलिस झंडा दिवस' के रूप में मनाया जाता है। 23 नवम्बर 1952 के बाद प्रति वर्ष सैनिक कल्याण के लिए झंडे के स्टीकर जारी किए जाते हैं। पुलिस झंडा दिवस यानि प्रति वर्ष 23 नवंबर को पुलिस मुख्यालयों व कार्यालयों, पीएसी वाहिनियों, क्वार्टर गार्द, थानों, भवनों व कैम्पों पर पुलिस ध्वज फहराए जाते हैं। पुलिस अधिकारियों एवं कर्मचारियों द्वारा पुलिस ध्वज का प्रतीक (स्टीकर) वर्दी की बांई जेब के ऊपर लगाया जाता है। यह सिलसिला 23 नवंबर 1952 से लगातार जारी है।
उन्होंने कहा कि पुलिस ध्वज से पुलिस कर्मियों में नई ऊर्जा का संचार होता है। विभाग के वीर जवानों के शौर्य, कर्तव्यपरायणता एवं उत्कृष्ट कर्तव्यनिष्ठा के फलस्वरूप देश के पहले प्रधानमंत्री पंडित जवाहर लाल नेहरू ने सबसे पहले उत्तर प्रदेश पुलिस को ध्वज प्रदान किया था। 
उन्होंने कहा कि हमें गर्व के साथ धैर्य पूर्वक न्यायपूर्ण कार्य करते हुए पुलिस विभाग की छवि को अच्छी से अच्छी बनाना है। पीड़ितों को न्याय, सबको सुरक्षा और सम्मान दिलाने के साथ पुलिस ध्वज की गरिमा को बढ़ाना है। झंडा दिवस के मौके पर ध्वजारोहण किया और पुलिस झंडे को सलामी दी गई। 


अहमद हुसैन 
ट्रू स्टोरी


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