तारिक हसन को किया नरेंद्र मोहन अवार्ड से सम्मानित
उत्तर प्रदेश जर्नलिस्ट्स एसोसिएशन की जिला इकाई अलीगढ़ जर्नलिस्ट्स एसोसिएशन के तत्वाधान में वरिष्ठ पत्रकार एवं राज्यसभा के पूर्व सदस्य स्व. नरेंद्र मोहन की 85वीं जयंती पर गोष्ठी का आयोजन आईआईएमटी में किया गया। कार्यक्रम की अध्यक्षता दैनिक जागरण के स्थानीय संपादक अवधेश माहेश्वरी ने की और संचालन एसोसिएशन के जिला महामंत्री पंकज धीरज ने किया। इस अवसर पर प्रेस ट्रस्ट ऑफ इंडिया (पीटीआई) के संवाददाता तारिक हसन को नरेंद्र मोहन अवार्ड से सम्मानित किया गया। मुख्य अतिथि अपर मंडलायुक्त शमीम अहमद ने मां सरस्वती एवं स्व. नरेंद्र मोहन के चित्रों पर माल्यार्पण एवं दीप प्रज्जवलित कर कार्यक्रम का शुभारंभ किया। उन्होंने कहा कि स्व. नरेंद्र मोहन ने अपनी निष्पक्ष एवं निर्भीक कार्यशैली के तहत पत्रकारिता के क्षेत्र में नए आयाम स्थापित किए। आज की पीढ़ी के पत्रकारों को भी चाहिए कि वह निष्पक्ष होकर जनता की आवाज को बुलंद तरीके से शासन और प्रशासन तक पहुंचाएं।
दैनिक जागरण के संपादक अवधेश माहेश्वरी ने कहा कि बदलते परिवेश में पत्रकारों की भूमिका और भी अहम होती जा रही है। कुछ मामलों में फेक न्यूज का चलन बढ़ने लगा है लेकिन दैनिक जागरण विश्वास न्यूज पर जोर दे रहा है। यही विश्वास स्व. नरेंद्र मोहन ने जनता के बीच स्थापित किया था।
वरिष्ठ पत्रकार गौरीशंकर शर्मा ने पत्रकारों को प्रेरित करते हुए कहा कि चाहे आजादी से पहले का दौर रहा या फिर आजादी के बाद का। सभी दौर में पत्रकारों की भूमिका अहम रही है। पत्रकारों को चाहिए कि वह बिना किसी दवाब के जनता की मूलभूत समस्याओं को उठाएं। स्व. नरेंद्र मोहन ने राज्यसभा सदस्य रहते हुए भी अपने पत्र के माध्यम से सत्ता का दवाब रहते हुए भी निष्पक्ष व निर्भीक पत्रकारिता की।
नेशनल यूनियन ऑफ जर्नलिस्ट्स (आई) के राष्ट्रीय सचिव एवं उपजा के प्रांतीय महामंत्री प्रदीप शर्मा ने अपने संबोधन में कहा कि स्व. नरेंद्र मोहन पत्रकारिता के ऐसे पुरोधा थे कि तलवार की धार से भी तेज उनकी लेखनी के चलते शासन-प्रशासन को अपनी गलत नीतियों में सुधार करना पड़ता था। उन्होंने नई पीढ़ी के पत्रकारों का आह्वान किया कि वे भी अपनी कलम को धार देने के लिए आगे आएं। श्री शर्मा ने सभी अतिथियों का शॉल ओढ़ाकर, स्मृति चिन्ह प्रदान कर एवं माल्यार्पण कर स्वागत किया।
वरिष्ठ पत्रकार सतीश कुलश्रेष्ठ ने कहा कि समाचार लिखने में पत्रकारों को शब्दों का चयन सटीक तरीके से करना चाहिए। इस अवसर पर अमुवि के पूर्व पीआरओ डा. राहत अबरार, प्रदीप सक्सेना, तारिक हसन, सुरेंद्र अग्रवाल, ब्रह्माकुमारी की बहन हेमा एवं राखी बहन ने भी अपने विचार व्यक्त किए। आईआईएमटी के डायरेक्टर एवं कार्यक्रम संयोजक पंकज महलवार एवं प्राचार्य शंभू केएन सिंह रावत ने सभी का आभार व्यक्त किया।
गोष्ठी में संजय अग्रवाल सागर, रतन वार्ष्णेय, संतोष शर्मा, तेजवीर सिंह चौहान, रंजीत सिंह, विनोद भारती, मनोज शर्मा, योगेंद्र गुप्ता, शैलेंद्र शर्मा, अजीत चौहान, सुशील तोमर, चंद्रशेखर शर्मा, असीम शर्मा, नीता गुप्ता, देवेंद्रपाल सिंह आदि उपस्थित थे।