बुढाना को पालिका के दर्जे की तरफ चला कदम,शासन ने मांगा पॉजिटिव प्रस्ताव
बुढ़ाना नगर पंचायत के सीमा विस्तार को शासन की ओर से हरी झंडी मिलने के बाद अब ए डी एम प्रशासन अमित सिंह ने बुढ़ाना नगर पंचायत के ई ओ ओमगिरी को पत्र लिखकर वर्तमान बोर्ड बैठक के प्रस्ताव के साथ नगर पंचायत बुढाना की सीमा विस्तार का प्रस्ताव मांगा है। पहले यह प्रस्ताव पुरानी बोर्ड बैठक होने की वजह से शासन स्तर से अस्वीकृत हो गया था। अब शासन ने इस पर निर्णय ले लिया है ओर उम्मीद लग रही है कि बुढाना नगर पंचायत को अब नगर पालिका का दर्जा मिल सकता हैं।
दर असल तत्कालीन कलक्टर राजीव शर्मा ने वर्ष 2018 में नगर पंचायत बुढाना को उच्चीकृत कर नगर पालिका न बनाये जाने का प्रस्ताव विशेष सचिव नगर विकास अनुभाग को भेजा था। जिसमें एसडीएम बुढाना एवं ईओ ने संयुक्त रूप से अपने पत्र में सीमा विस्तार हेतु प्रस्ताव उपलब्ध् कराया था, लेकिन बोर्ड प्रस्ताव 2013 के अन्तर्गत नगर पंचायत के सीमा विस्तार को अस्वीकृत किया गया था, डीएम ने अपने पत्र में कहा था कि नगर पंचायत बुढाना सीमा विस्तार के लिए सहमत नहीं है। ऐसे में राजीव शर्मा ने एसडीएम व ईओ की आख्या के आधार पर सीमा विस्तार न किये जाने की संस्तुति की थी। लेकिन शासन ने डीएम के इस प्रस्ताव को खारिज कर दिया। अधिवक्ता उत्थान समिति बुढाना के अध्यक्ष अहतेशाम सिद्दीकी ने प्रमुख सचिव नगर विकास को पत्र लिखकर बताया कि उन्होंने नगर पंचायत का सीमा विस्तार कराये जाने को लेकर हाईकोर्ट में रिट दायर की थी। जिसके बाद यह प्रक्रिया चल रही है।इनका कहना था कि तत्कालीन जिलाधिकारी राजीव शर्मा के प्रस्ताव को शासन ने खारिज करते हुए दोबारा संस्तुति सहित प्रस्ताव तलब किया है। इस सीमा में शफीपुर पट्टी का नगर पंचायत बुढाना में शामिल होना प्रस्तावित है, लेकिन कुछ राजनीतिक लोग अपने निजी स्वार्थो के लिए सीमा विस्तार में अडचन पैदा कर रहे है। जो कि नियम के विरुद्ध है।